बीते बरस ऐसे ,
मानो कल की बात हो !
रीता जीवन जैसे
अमावस की रात हो !
दिन भर बाद ,
उन शामों का ढलना,
दिल में अधूरी
आशाओं का मचलना,
सोंच कर मन में
बिछलन की बातें ;
सांसों का रुक जाना,
दिल का दहलना !
उनका मेरे जीवन से जाना ;
जैसे कोई अधूरी बात हो!
रीता जीवन जैसे
अमावस की रात हो !
कुछ कहना और कुछ सुनना,
मन ही मन कुछ -कुछ बुनना,
चुनना सपने, सपने गुनना !
सपने- अपने सब भूल गये;
रह गया बस सांसों का चलना!
कहाँ खो गयी ऊषा की आशा;
जैसे अब ये अंत हीन रात हो !
रीता जीवन जैसे
अमावस की रात हो !
मानो कल की बात हो !
रीता जीवन जैसे
अमावस की रात हो !
दिन भर बाद ,
उन शामों का ढलना,
दिल में अधूरी
आशाओं का मचलना,
सोंच कर मन में
बिछलन की बातें ;
सांसों का रुक जाना,
दिल का दहलना !
उनका मेरे जीवन से जाना ;
जैसे कोई अधूरी बात हो!
रीता जीवन जैसे
अमावस की रात हो !
कुछ कहना और कुछ सुनना,
मन ही मन कुछ -कुछ बुनना,
चुनना सपने, सपने गुनना !
सपने- अपने सब भूल गये;
रह गया बस सांसों का चलना!
कहाँ खो गयी ऊषा की आशा;
जैसे अब ये अंत हीन रात हो !
रीता जीवन जैसे
अमावस की रात हो !
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